इस आर्टिकल में हम NEET की परीक्षा के full marks के बारे में बात करेंगे।
नीट का पेपर कितने नंबर का होता है? NEET exam कुल कितने मार्क्स का होता है? नीट की परीक्षा कुल कितने अंकों की होती है?
इस तरह के सवाल मेडिकल क्षेत्र में करियर बनाने के लिए, NEET की परीक्षा की तैयारी कर रहे विद्यार्थियों के मन में एक न एक बार तो जरूर ही आते हैं।
मेडिकल लाइन हमेशा से ही विद्यार्थियों के लिए करियर के सबसे मुख्य विकल्पों में से एक है, और मेडिकल लाइन में एक अच्छा करियर बनाने के लिए सबसे महत्वपूर्ण परीक्षा हम NEET को ही कह सकते हैं।
Medical line में NEET ही सबसे महत्वपूर्ण परीक्षा है, हर साल लाखों की संख्या में विद्यार्थी नीट की तैयारी करते हैं और इसकी परीक्षा में बैठते हैं।
NEET की नई-नई तैयारी में जुटे विद्यार्थियों के मन में इस परीक्षा से संबंधित कई महत्वपूर्ण प्रश्न रहते हैं, और इसमें एक सवाल इस परीक्षा के कुल अंको से भी संबंधित रहता है।
इस आर्टिकल में हम NEET के पेपर के कुल अंकों, और उसके साथ साथ इससे संबंधित दूसरी जरूरी बातों पर भी चर्चा करेंगे।
आज हम जानेंगे
NEET का paper कितने नंबर का होता है?
NEET का paper कुल 720 अंको का होता है। नीट की परीक्षा में कुल मिलाकर 180 प्रश्नों का उत्तर देना होता है। हर प्रश्न चार अंक का होता है, इस तरह 180 प्रश्नों का कुल अंक 720 बनता है।
सभी प्रश्न वस्तुनिष्ठ प्रकार के यानी की multiple choice questions होते हैं, जिसमें दिए गए चार विकल्पों में से कोई एक विकल्प ही सही होता है।
हर सही उत्तर के लिए विद्यार्थियों को 4 अंक मिलता है। इस परीक्षा में नेगेटिव मार्किंग होती है, हर गलत उत्तर के लिए एक marks काटा जाता है।
NEET की परीक्षा में कुल मिलाकर 4 विषयों से प्रश्न रहते हैं। इन विषयों में पहला फिजिक्स, दूसरा केमिस्ट्री और फिर बायोलॉजी में दो विषय, तीसरा जूलॉजी और चौथा botany रहता है।
इन विषयों में से फिजिक्स और केमिस्ट्री से 45-45 प्रश्न पूछे जाते हैं।
इस तरह फिजिक्स और केमिस्ट्री के हर प्रश्न के चार अंग के हिसाब से कुल अंक हो जाते हैं 360.
उसी तरह बायलॉजी में जूलॉजी और botany से 45-45 प्रश्न रहते हैं।
इस तरह इस तरह इसके भी कुल अंक 360 हो जाते हैं, और कुल मिलाकर नीट का पेपर का full marks 720 हो जाता है।
नीट की परीक्षा के प्रश्न पत्र में इन चार अलग-अलग विषयों का अलग-अलग सेक्शन होता है।
NEET की परीक्षा में हर विषय को 2 sections में विभाजित किया जाता है।
फिजिक्स, केमिस्ट्री, जूलॉजी, बॉटनी हर विषय में दो सेक्शन A और B होते हैं।
सभी विषयों के A सेक्शन में 35 प्रश्न रहते हैं, जिनमें से विद्यार्थियों को सभी का ही उत्तर देना होता है।
Section B में कुल 15 प्रश्न पूछे जाते हैं, जिसमें से विद्यार्थियों को 10 प्रश्न का उत्तर देना होता है।
इस तरह एक विषय से 35+10 = 45 प्रश्न पूछे जाते हैं। तो चार विषयों का कुल प्रश्न 180 और कुल अंक 720 हो जाता है।
तो नीट की परीक्षा के पूरे exam pattern को संक्षिप्त में इस तरह से समझा जा सकता है –
- Exam mode – offline (pen paper based exam)
- Questions type – Multiple Choice Questions (MCQs)
- कुल समय – 3 घंटे
- Subjects – physics, chemistry, zoology और botany
- कुल प्रश्नों की संख्या – 180 ( हर विषय से 45 प्रश्न)
- कुल अंक – 720
- Marking scheme – सही उत्तर (+4 marks) और गलत उत्तर (-1 marks)
- बायोलॉजी में जूलॉजी और बॉटनी से 45-45 प्रश्न यानी कुल 90 प्रश्न और उनके लिए कुल मार्क्स 360
- फिजिक्स से 45 प्रश्न और उनके लिए कुल marks 180
- केमेस्ट्री से भी 45 प्रश्न और उनके लिए कुल marks 180
- इस तरह कुल प्रश्नों की संख्या 180 और उनके लिए कुल marks 720
NEET के पेपर में कितने नंबर लाने होते हैं?
अब दूसरा महत्वपूर्ण प्रश्न यह भी आता है कि NEET की परीक्षा पास करने के लिए NEET के पेपर में कितने अंक लाना जरूरी होते हैं?
या कहें कि NEET में पास होने के लिए कितने नंबर चाहिए? तो NEET राष्ट्रीय स्तर की एक एक प्रतियोगी परीक्षा है, और इसमें passing marks यानी cut off हर साल बदलता रहता है।
NEET से संबंधित कुछ ज़रूरी बातें
Full form से शुरू करें तो NEET का पुरा नाम National Eligibility cum Entrance Test है, जिसे हिंदी में राष्ट्रीय पात्रता सह प्रवेश परीक्षा कहते हैं।
हर साल यह exam NTA यानी कि National testing agency द्वारा राष्ट्रीय स्तर पर आयोजित की जाती है।
NEET मेडिकल लाइन का सबसे महत्वपूर्ण एंट्रेंस एग्जाम होता है, जो मेडिकल विद्यार्थियों के लिए मुख्य medical courses में दाखिले के लिए आयोजित किया जाता है।
Students जो अंडर ग्रेजुएशन मेडिकल कोर्स में MBBS या BDS या BAMS आदि जैसे किसी को course में दाखिला लेना चाहते हैं, उन्हें NEET क्वालीफाई करना ही होता है।
MBBS या इसके समकक्ष के दूसरे मेडिकल कोर्स में दाखिले के लिए NEET वर्तमान में भारत की एकमात्र प्रवेश परीक्षा है।
Postgraduate medical courses भी जैसे की MD/MS/MDS आदि करने के लिए भी वर्तमान में NEET क्वालीफाई करना government द्वारा mandatory कर दिया गया है।
जो students NEET exam में अच्छे marks लाकर अच्छी rank हासिल करता है, उनका admission देश के top और सबसे अच्छे सरकारी medical colleges में होता है।
NEET की परीक्षा में ज्यादा rank रहने पर विद्यार्थियों को प्राइवेट कॉलेज मिलता है।
NEET से पहले MBBS जैसे medical courses में दाखिले के लिए AIPMT यानी All India pre-medical entrance test आयोजित की जाती थी।
AIPMT में अलग अलग राज्य और कॉलेज के हिसाब से एंट्रेंस एग्जाम भी अलग था।
लेकिन पहली बार 2013 में NEET आने के बाद वर्तमान में सभी के लिए NEET ही एकमात्र प्रवेश परीक्षा है।
NEET किसी भी सरकारी या प्राइवेट medical college में admission के लिए, इसके अलावा AIIMS में एडमिशन के लिए और JIPMER में admission के लिए भी है।
NEET में आपको सिर्फ एक ही एग्जाम देना होता है, जिसमे अच्छे रैंक लाने के बाद आपका एडमिशन एक अच्छे मेडिकल कॉलेज में हो जाता है।
जहां AIPMT सिर्फ 15% All India Quota के लिए होता था, वहीं NEET 100% मेडिकल सीट के लिए लिया जाता है।
इसमें से 15% सीट सभी स्टूडेंट के लिए, जबकि 85% सीट जिस राज्य के एग्जाम होता है उस राज्य के स्टूडेंट्स को दिया जाता है।
Conclusion
ऊपर दिए गए इस आर्टिकल में हमने बात की है कि NEET का पेपर कितने अंक का होता है?
हर साल बहुत बड़ी संख्या में विद्यार्थी नीट की परीक्षा की तैयारी में जुटते हैं और विद्यार्थियों के मन में इस परीक्षा से संबंधित कई महत्वपूर्ण सवाल होते हैं और यहां ने उन्हीं में से एक की चर्चा की है।
इसके अलावा इससे संबंधित कई अन्य प्रश्न भी जैसे नीट में कितने सब्जेक्ट होते हैं?
आदि भी विद्यार्थियों के मन में रहते हैं, इसकी जानकारी वे यहां से प्राप्त कर सकते हैं।
Akash, Padhaipur के Writter है। इन्होंने 2020 में अपनी M.A (हिंदी) की पढ़ाई पूरी की।इनको किताबें पढ़ने का बहुत शौक़ है, इसके अलावा इन्हें लिखना भी बहुत पसंद है।