इस आर्टिकल में हमारा टॉपिक है ‘1% में कितने नंबर होते हैं?’।
दोस्तों जब भी हम किसी परीक्षा के परिणाम यानी exam के results की बात करते हैं, तो विद्यार्थियों द्वारा उस परीक्षा में लाए गए अंको को सामान्यतः प्रतिशत में ही बताया जाता है।
विद्यार्थियों ने परीक्षा के कुल अंकों में से जितने भी अंक अर्जित किए होते हैं, उस हिसाब से 100% में से उसका एक निश्चित प्रतिशत बनता है, और वही उस विद्यार्थी का उस परीक्षा में परसेंटेज होता है।
अब वैसे तो ऊंचे कक्षा के विद्यार्थियों को प्रतिशत और नंबर आदि की जानकारी होती ही है, पर फिर भी कई विद्यार्थियों के मन में इस संबंध में कई प्रश्न रहते हैं।
उन्हीं में, कई विद्यार्थियों के मन में यह सवाल भी रहता है कि 1% में कितने नंबर होते हैं?
या 1% का मतलब कितना नंबर होता है?
इस आर्टिकल में हम इसी के बारे में विस्तार से बात करेंगे।
यदि आपके मन में भी यह प्रश्न है, तो इस लेख को अंत पूरा जरूर पढ़ें।
इसे पढ़ने के बाद आपको इससे संबंधित आपके सभी प्रश्नों के जवाब मिल जाएंगे।
आज हम जानेंगे
1% में कितने नंबर होते हैं?
कुल 500 अंको की परीक्षा में, 1% में 5 नंबर होते हैं। असल में 1% का मतलब 100 में से 1 भाग हो जाता है। तो यदि कुल मिलाकर 100 अंकों की परीक्षा है तो उसमें 1% का मतलब 1 नंबर हो जाएगा।
उसी तरह 200 अंकों की परीक्षा में 1% 2 अंक, 300 की परीक्षा में 1% 3 अंक और फिर 500 अंको की परीक्षा में 1% 5 अंक हो जाएगा।
1% में कितने नंबर होते हैं, यह सवाल तो निश्चय ही विद्यार्थियों के मन में परीक्षा के परिणामों को लेकर ही आता है।
अब परीक्षा में भी, बोर्ड परीक्षा (10वीं) के परिणाम को लेकर ही कई विद्यार्थी इस प्रश्न की जानकारी चाहते हैं कि 1% में कितने नंबर होते हैं।
अब 10वीं के बोर्ड परीक्षा के कुल अंकों की बात करें तो 5 विषयों के 100 – 100 अंकों को मिलाकर बोर्ड परीक्षा के कुल अंक 500 बनते हैं।
और फिर उस 500 में से विद्यार्थियों ने सभी विषयों को मिलाकर कुल कितने अंक अर्जित किए हैं, उस हिसाब से उनका बोर्ड परीक्षा का प्रतिशत बनता है।
अगर किसी विद्यार्थी ने किसी दूसरे विद्यार्थी से 1% कम अंक लाए हैं, तो अंको/नंबर में इसका मतलब है कि उसने उस विद्यार्थी से 5 नंबर कम लाए हैं।
अब यदि 500 अंकों के बजाय किसी परीक्षा के कुल अंक बढ़कर 600, 700 या 1000 हो जाएं, तो जाहिर है उनके लिए 1% में नंबर भी बढ़ जाएंगे।
कुल 600 अंकों की परीक्षा में 1% 6 नंबर, 700 में 7 नंबर और उसी तरह 1000 में 10 नंबर हो जाएंगे।
1% कैसे निकालते हैं?
1% में कितना नंबर होगा, या किसी एक नंबर का 1% कितना होता है यह निकालने के लिए साधारण mathematical formula या कहें आसान सा calculation ही करना होता है।
किसी नंबर का 1% निकालने के लिए उस नंबर को एक से गुणा करके 100 से भाग दे देना होता है।
उदाहरण के लिए, यदि 250 का 1% निकालना चाहें तो 250 को एक से गुणा करने पर 250, और फिर 100 से भाग करने पर 2.5 आता है।
यानी कि 250 का 1% 2.5 होता है बिल्कुल इसी तरह अन्य किसी नंबर का 1% भी आसानी से निकाला जा सकता है।
बोर्ड परीक्षा में 1% में कितने नंबर होते हैं?
10वीं की बोर्ड परीक्षा सामान्यतः कुल 500 अंकों की होती है, तो 500 का 1% 5 नंबर यानी बोर्ड परीक्षा में 1% में 5 नंबर ही होते हैं।
अब 1% में 5 नंबर तब होंगे जब परीक्षा का कूल अंक 500 होगा, यानी आपने कुल 5 मुख्य विषय लिए होंगे।
यदि परीक्षा का कुल अंक 400 होगा, तो उसमें 1% में 4 नंबर होंगे।
और उसी तरह यदि 6 विषय के कुल 600 अंक होते हैं तो 1% में 6 नंबर हो जाएंगे।
अभी सीबीएसई की 10वीं की बोर्ड परीक्षा में कुल 6 विषय भी हो गए हैं, जिससे कुल अंक 600 हो जाते हैं।
तो, सामान्यत: तो बोर्ड परीक्षा में 1% में 5 नंबर ही होते हैं, लेकिन यदि परीक्षा के कुल अंक 400 या 600 या हों, तो 1% में नंबर भी क्रमशः 4 और 6 हो जाते हैं।
UPSC में 1% में कितने नंबर होते हैं?
बोर्ड परीक्षा को छोड़ दें तो कई ऐसी परीक्षाएं हैं जिनमें total marks काफी ज्यादा होते हैं।
उदाहरण के लिए यूनियन पब्लिक सर्विस कमीशन द्वारा आयोजित की जाने वाली सिविल सर्विस की परीक्षा सभी चरणों को मिलाकर कुल 2025 अंको की होती है।
तो इस परीक्षा के लिए 1% में 20.25 नंबर हो जाएंगे।
यानी यूपीएससी की परीक्षा में 1% कम अंक लाने का मतलब होगा कि उम्मीदवार ने 20.25 अंक कम अर्जित किए हैं।
हालांकि यूपीएससी की परीक्षा में रैंक के हिसाब से देखा जाता है, पर यदि % wise बात करें तो यह ऐसा ही होगा।
क्या 1% नंबर से फेल कर सकते हैं?
इसी 1% नंबर से संबंधित, कई विद्यार्थियों के मन में यह सवाल भी आता है कि क्या वे 1% नंबर से फेल कर सकते हैं?
अब इस सवाल का जवाब भी उतना ही सरल है कि अगर विद्यार्थी पासिंग प्रतिशत से 1% भी कम नंबर लाते हैं तो वे निश्चय ही फेल कर सकते हैं।
किसी भी परीक्षा का एक जरूरी पासिंग प्रतिशत होता है, जो सामान्यत: 100 में से 33% होता है।
अब सभी विषयों को मिलाकर यदि कुल अंक में से विद्यार्थी 33% की जगह 32% ही ला पाते हैं, तो वे परीक्षा में फेल ही हैं।
पास होने के लिए उनका 33% या उससे ज्यादा अंक लाना जरूरी है।
यदि वे उससे 1 या बल्की आधा प्रतिशत भी कम अंक लाते हैं तो वे फेल ही होंगे।
100% में 1% का मतलब होता है 100 में से 1 भाग। इसकी गणना 1 को 100 से विभाजित करके और उत्तर को 100 से गुणा करके की जा सकती है।
यह निर्भर करता है कि कुल कितने अंकों की परीक्षा है। यदि 500 अंको की है तो 5 अंक मिलकर 1% बनाएंगे, 600 की परीक्षा में 6 अंक, और आगे इसी प्रकार से यह आगे बढ़ेगी।
कोई एक नंबर किसी दूसरे नंबर का कितना प्रतिशत है यह निकालने के लिए पहले नंबर को दूसरे नंबर से विभाजित करके परिणाम को 100 से गुना कर देना होता है।
Conclusion
ऊपर इस आर्टिकल में हमने, 1% में कितने नंबर होते हैं इसके बारे में चर्चा की है।
500 अंको की परीक्षा में, 1% में 5 नंबर होते हैं। बोर्ड परीक्षा के संबंध में, कई बार विद्यार्थियों के मन में यह सवाल आ जाता है।
उम्मीद करते हैं यह आर्टिकल आपके लिए informative रहा होगा।
इससे संबंधित कोई भी प्रश्न हो तो हमें कमेंट सेक्शन में जरूर पूछें।
Akash, Padhaipur के Writter है। इन्होंने 2020 में अपनी M.A (हिंदी) की पढ़ाई पूरी की।इनको किताबें पढ़ने का बहुत शौक़ है, इसके अलावा इन्हें लिखना भी बहुत पसंद है।